मंगलवार को एम्स ने दिवंगत सुशांत सिंह राजपूत की विसरा रिपोर्ट सीबीआई को सौंपी। इस दौरान पैनल ने मुंबई फोरेंसिक लैब द्वारा की गई बड़ी लापरवाही की ओर ध्यान दिलाया। उनके मुताबिक, लैब ने कई जरूरी टेस्ट नहीं किए। इनमें से एक वह टेस्ट भी था, जिसके जरिए यह पता लगाया जा सकता था कि सुशांत को ड्रग्स दिया गया था या नहीं?
परिवार का जबरदस्ती ड्रग्स देने का आरोप
लापरवाही सामने आने के बाद सुशांत के परिवार ने आरोप लगाया है कि हो सकता है कि उन्हें जबर्दस्ती ड्रग्स दिया गया हो। अब सीबीआई यह पता करने की कोशिश कर रही है कि आखिर मुंबई की फॉरेंसिक लैब ने विसरा के टेस्ट में इस तरह की लापरवाही क्यों की?
खुदकुशी या मर्डर? अभी स्पष्ट नहीं
एम्स के 5 डॉक्टर्स की टीम को लीड कर रहे सुधीर गुप्ता की मानें तो उन्होंने और सीबीआई मिलकर इस केस पर काम किया है और दोनों के बीच सहमति भी बनी है। लेकिन कुछ बातों पर अब भी विचार-विमर्श करने की जरूरत है। गुप्ता के मुताबिक, यह सच है कि सुशांत के शरीर में जहर नहीं मिला। लेकिन अभी भी स्पष्ट रूप से यह नहीं कहा जा सकता कि सुशांत ने खुदकुशी की या फिर उन्हें मारा गया।
1 जुलाई को आई थी मुंबई FSL की रिपोर्ट
1 जुलाई को मुंबई पुलिस ने सुशांत की विसरा जांच की रिपोर्ट रिलीज की थी। इसमें फॉरेंसिक लैब की ओर से कहा गया था कि अभिनेता के शरीर में किसी तरह का जहर या संदिग्ध रसायन नहीं मिला है। रिपोर्ट में यह दावा भी किया था कि अभिनेता की मौत फांसी लगाने के बाद दम घुटने से हई थी।
CBI को वक्त क्यों लग रहा?
रिपोर्ट्स की मानें तो सीबीआई ने उस कमरे में जाकर डमी टेस्ट किया था, जहां सुशांत मृत पाए गए थे। अभी इसकी रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है। कुछ और रिपोर्ट्स भी अभी सीबीआई को मिलनी बाकी है। मामले में हो रही देरी के सवाल पर सीबीआई ने स्पष्ट किया कि वे इस मामले की जांच हर एंगल से कर रहे हैं। यही वजह है कि इसमें वक्त ज्यादा लग रहा है।
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